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मासूम बच्चों के साथ शिक्षकों का भविष्य भी खतरे में: संजय सिंह
लखनऊ: उत्तर प्रदेश में 27000 सरकारी स्कूलों को बंद किए जाने फैसले से मासूम बच्चों के साथ शिक्षकों का भविष्य भी खतरे में पड़ गया है। आम आदमी पार्टी, शिक्षकों और बच्चों के भविष्य से खिलवाड़ नहीं होने देगी और इसलिए नौ जुलाई से पार्टी ‘स्कूल बचाओ अभियान’ की शुरुआत करने जा रही है। ये एलान सांसद संजय सिंह ने किया है। उन्होंने कहा, जहां-जहां भी सरकारी स्कूल बंद हो रहा है वहां, आगामी नौ जुलाई से आम आदमी पार्टी के सभी पदाधिकारी, कार्यकर्ता, फ्रंटल अध्यक्ष और नेता जाएंगे और वहां प्रवास करेंगे। लोगों के साथ संवाद किया जायेगा। साथ ही सभाओं के माध्यम से जनता को जागरूक करके जल्द ही एक बड़ा आंदोलन किया जायेगा। सांसद संजय सिंह ने कहा कि मैं स्वयं उन सभी गांवों में जाऊंगा, जहां जहां भी सरकारी स्कूल बंद हो रहे हैं और वहां के लोगों से संवाद करूंगा।
संजय सिंह ने कहा कि आरटीई एक्ट के अनुसार 1 किलोमीटर के दायरे में एक स्कूल होना चाहिए, लेकिन सरकार शिक्षा के अधिकार की खुलेआम धज्जियां उड़ाते हुए स्कूलों को बंद करके बच्चों के जीवन से खिलवाड़ कर रही है। बंद हो रहे स्कूलों के प्रधानाध्यापक, शिक्षक और कर्मचारी अब कहां जाएंगे इसका भी कोई अता-पता नहीं है। संजय सिंह ने कहा कि सरकार तर्क दे रही है कि बच्चों की संख्या कम होने के चलते इन स्कूलों का विलय किया जा रहा है लेकिन बच्चों की संख्या कम होने का असल कारण क्या है? क्या सरकार ने इसे जानने का प्रयास किया?
स्कूल बचाना आम आदमी पार्टी की सबसे बड़ी प्राथमिकता
संजय सिंह ने कहा कि स्कूल बचाना आम आदमी पार्टी की सबसे बड़ी प्राथमिकता है। उन्होंने कहा कि आम आदमी पार्टी ने स्कूल और अस्पताल यानी बच्चों की शिक्षा और बेहतर इलाज को हमेशा प्राथमिकता पर रखा है। उन्होंने कहा कि जो काम हमने दिल्ली और पंजाब में करके दिखाया है हम चाहते हैं कि उत्तर प्रदेश में भी शिक्षा और स्वास्य की व्यवस्था बेहतरीन हो।