लखनऊ: उत्तर प्रदेश में लखनऊ मंडल के 8 रेलवे स्टेशनों के नाम बदलने के बाद सियासत तेज हो गई है. इसको लेकर सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने सरकार पर तंज कसा है और कहा है कि नाम बदलन से फुरसत मिल जाए तो रिकॉर्ड कायम करते रेल-एक्सीडेंट्स के हादसों के रोकथाम के लिए भी कुछ समय निकालकर विचार करें.
जानें नए नाम
बता दें कि मंगलवार को सरकार ने उत्तर रेलवे के लखनऊ मंडल में आठ स्टेशनों के नाम बदलने को भी मंजूरी दे दी है. कासिमपुर हॉल्ट को अब जायस सिटी कहा जाएगा. जायस का नाम बदलकर गुरु गोरखनाथ धाम कर दिया गया है. मिश्रौली को अब मां कालीखान धाम कहा जाएगा. बानी को अब स्वामी परमहंस कहा जाएगा. निहालगढ़ (एनएचएच) को महाराजा बिजली पासी (एमबीएलपी) कर दिया गया है. अकबर गंज को अब मां अहोरवा भवानी धाम कहा जाएगा. वारिसगंज हॉल्ट का नाम बदलकर अमर शहीद भाले सुल्तान कर दिया गया. वहीं फुर्सतगंज को अब तपेश्वरनाथ धाम कहा जाएगा.
भाजपा सरकार से आग्रह है कि रेलवे स्टेशनों के सिर्फ़ ‘नाम’ नहीं, हालात भी बदलें।
… और जब नाम बदलने से फ़ुरसत मिल जाएं तो रिकार्ड कायम करते रेल-एक्सीडेंट्स के हादसों के रोकथाम के लिए भी कुछ समय निकालकर विचार करें।
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) August 27, 2024
अखिलेश ने कही ये बात
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर एक पोस्ट शेयर करते हुए कहा कि भाजपा सरकार से आग्रह है कि रेलवे स्टेशनों के सिर्फ़ ‘नाम’ नहीं, हालात भी बदलें. इसी के आगे उन्होंने कहा है कि …और जब नाम बदलने से फ़ुरसत मिल जाएं तो रिकार्ड कायम करते रेल-एक्सीडेंट्स के हादसों के रोकथाम के लिए भी कुछ समय निकालकर विचार करें.